07 नवंबर 2020
उल्लास, आनंद, प्रसन्नता बढ़ाने वाले हमारे पर्वों में पर्वों का पुंज दीपावली अग्रणी स्थान पर है। भारतीय संस्कृति के ऋषि-मुनियों, संतों की यह दूरदृष्टि रही है, जो ऐसे पर्वों के माध्यम से वे समाज को वास्तविक आत्मिक आनंद, शाश्वत सुख के मार्ग पर ले जाते थे।
दीपावली पर हम खुश होते हैं व खुशियां बाँटते हैं, दीपावली पर हम घर में नया सामान, पटाखें, मिठाई आदि की खरीदारी करते है। यह सामान खरीदने में एक सावधानी जरूर रखें शनिवार को इस पर ट्रेंड चला था #हिंदू_दीपावली_हिंदू_सामान जो दिनभर टॉप में रहा और करीब एक लाख से ऊपर ट्वीट हुई थी दूसरा भी शनिवार शाम को टॉप में #चीन_मुक्त_दीपावली ट्रेंड चला।
ट्वीटर पर इस ट्रेंड के माध्यम से जनता बता रही थी कि दीपावली त्योहार हिंदुओ का है इसलिए हिंदुओं की दुकानों से ही सामान खरीदें क्योंकि जो दीपावली मनाते है उन्हीं से ही सामान खरीदें अर्थात हिंदुओं की दुकान से ही सामान खरीदें एवं चीन का भी सामान नहीं खरीदें क्योंकि भारतवासियों के पैसे से ही चीन समृद्ध हो रहा है और भारत के खिलाफ ही साजिश करता है।
ट्वीट के माध्यम से बताया गया था कि विदेशी कंपनियों की हिन्दू धर्म के प्रति कोई आस्था नहीं होती है इसलिए हिन्दुओं के सबसे बड़े त्योहार पर सिर्फ देश के बने हुए सामान और वो भी दिपावली मनाने वालों से ही खरीदने का संकल्प लें।
बताया गया कि हमें चीनी सामान का बहिष्कार करना चाहिए इससे हम उससे बिना लड़े जीत सकते हैं। बिजली का सामान हो या सजावटी सामान हो, या फिर अन्य सामान, राष्ट्र निर्मित ही होना चाहिए। ऐसा देश हित में होगा।
एक यूजर ने बताया कि इस वर्ष की दीपावली देश में निर्मित सामान से ही मनानी है यही सच्ची दिवाली होगी। देश का पैसा देश के कार्यों में लगे ऐसा शुभ संकल्प होना चाहिए। ये दीपावली आपकी आध्यात्मिक दीपावली हो।
#हिन्दू_दीपावली_हिन्दू_सामान #चीन_मुक्त_दीपावली
इस तरीके से अपील करती हुई लाखों ट्वीट हुई जिसके जरिये बताया गया कि हिंदुओ से ही सामान खरीदें एवं चीन का नहीं बल्कि भारतीय स्वदेशी ही सामान खरीदें।
दूसरी बात की दीपावली में कुछ लोग देवी-देवताओं के छायाचित्र वाले पटाखें फोडते हैं । देवता का छायाचित्र प्रत्यक्ष देवता ही हैं। जिस समय हम पटाखें फोडते हैं, उस समय उस छायाचित्र के टुकडे होते हैं, अर्थात हम उस देवता का अनादर ही करते हैं। श्रीलक्ष्मी के छायाचित्र वाले, साथ ही राष्ट्रभक्तों के छायाचित्र वाले पटाखें फोडना, इससे हमें पाप लगता है । इस दीपावली को हम ऐसे पटाखें खरीदेंगे ही नहीं। साथ ही ऐसे पटाखे खरीदने वालों का प्रतिरोध कर उनका प्रबोधन करेंगे, वास्तव में यह देवता की भक्ति है । ऐसा करने से हम पर देवता की कृपा होगी । बच्चो, क्या हमारे माता-पिता के छायाचित्र वाले पटाखे हम फोडेंगे ? नहीं न ! देवता हम सभी की रक्षा करते हैं । हमें शक्ति एवं बुदि्ध प्रदान करते हैं; अतएव इस दीपावली को हम यह अनादर रोकने का निश्चय करें ।
तीसरी बात यह है कि दीपावली पर मिठाई तो खरीदते ही है तो क्यो न इस बार गाय के दूध से बनी मिठाई खरीदे जिससे हमारा स्वास्थ्य भी अच्छा रहेगा, गौशालाओं में आमदनी भी अच्छी होगी और गौरक्षा भी होगी इसलिए इस बार जितना हो सके देशी गाय के दूध की मिठाई को खरीदें, खाएं एवं बांटे।
चौथी बात है कि आपके पास कोई हिंदू गरीब परिवार है तो आसपास के सभी हिंदू मिलकर उसकी सहायता जरुर करें जिससे वे भी अपनी दीपावली अच्छे से मना सकें।
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