*मुंबई उच्च न्यायालय ने पूछा, ‘संजय दत्त ज्यादातर पैरोल पर रहने पर भी क्यों किया गया जल्दी रिहा?’*
जून 13, 2017
Azaad Bharat - Sanjay Dutt
मुंबई
उच्च न्यायालय ने महाराष्ट्र #सरकार से संजय दत्त को जल्द रिहा करने पर
सवाल किए हैं। सोमवार को न्यायालय ने पूछा कि, सरकार को अपने इस निर्णय पर
सफाई देनी होगी कि, संजय को आठ महीने पहले जेल से कैसे रिहा किया गया जबकि
वो ज्यादातर समय पैरोल पर रहे थे।
#न्यायालय ने कहा, ‘सरकार ने #संजयदत्त को रिहा करने पर उनके अच्छे
व्यवहार का हवाला दिया था परंतु वो आधे समय तक पैरोल पर बाहर थे। ऐसे में
सरकार ने उनके अच्छे व्यवहार का आंकलन कब और कैसे कर लिया।’
#जस्टिस #सावंत ने यहां पूछा कि 'क्या सरकार ने #डीआईजी, जेल से सलाह ली
थी या जेल निरिक्षक ने सीधा अपनी सिफारिश #राज्यपाल को सौंप दी थी ?’
आपको
बता दें कि, संजय को 1993 के सीरियल ब्लास्ट केस में पांच साल कैद की सजा
सुनाई गई थी। उनके अच्छे व्यवहार का हवाला देते हुए #पुणे की यरवदा जेल से
तय समय से आठ महीने पहले ही फरवरी 2016 में उन्हें जमानत दे दी गई थी।
कोर्ट
ने सरकार को निर्देश दिए कि एक एफिडेविट फाइल करे। जिसमें ये बताया जाए कि
दत्त को जल्दी छोड़ने और छूट देने का आधार क्या था और इसके लिए क्या
प्रक्रिया अपनाई गई? कोर्ट इस मामले पर अागे की सुनवाई एक हफ्ते के बाद
करेगी।
अब
बड़ा सवाल उठता है कि बिना सबूत #साध्वी प्रज्ञा को 9 साल में जेल में रखा
गया । 1 दिन भी छुट्टी नही दी जबकि वे #कैंसर से पीड़ित थी फिर भी इलाज के
लिये जमानत तक नही दी गई।
स्वामी #असीमानंद को बिना सबूत 7 साल जेल में रखा उनको भी जमानत नहीं ।
आज
भी बिना सबूत जम्मू के शंकराचार्य #अमृतानन्द 9 साल से, कर्नल पुरोहित 7
साल से, हिन्दू संत #आशारामजी बापू 4 साल से, #नारायण साईं 3 साल से,
#धनंजय देसाई 3 साल से जेल में बंद हैं लेकिन न ही इन सबको जमानत मिल पा
रही है और न ही एक दिन की भी छुट्टी दी जा रही है ।
आखिर ऐसा क्यों..???
क्या #नेता-अभिनेता, #पत्रकारों एवं #अमीरों के लिए और हिन्दू साधु-संतों एवं हिन्दू कार्यकर्ताओं के लिए अलग कानून है..???
अगर
दत्त के अच्छे व्यवहार पर सरकार उसको जमानत, पैरोल और समय से पहले रिहा कर
सकती है तो हमारे हिन्दू संत और हिन्दू कार्यकर्त्ता जो चुपचाप सालों से
बिना किसी वजह जेल में सजा काट रहे हैं उनके प्रति क्यों कोई प्रतिक्रिया
नहीं दिखाती..???
आखिर ऐसा दोगलापन क्यो ..???
नेता : #लालू प्रसाद 950 करोड़ के चारा घोटाले में दोषी पाये जाने के बाद भी बाहर आराम से घूम रहा है ।
अभिनेता : #संजय दत्त को सजा होने के बाद भी अधिकतर बाहर पैरोल पर और बाद में सरकार ने सजा से 8 महीने पहले रिहा कर दिया ।
पत्रकार : #तरुण तेजपाल का सीसी टीवी कैमरे में पुख्ता सबूत मिला पर फिर भी बलात्कार केस में बाहर घूम रहा है।
अमीर : #विजय #माल्या 9000 करोड़ लेकर विदेश में ऐशो आराम की जिंदगी जी रहा है ।
लेकिन
शंकराचार्य अमृतानन्द, हिन्दू संत आशारामजी बापू आदि बिना सबूत सालों से
जेल में हैं लेकिन उनको इलाज या किसी भी धर्मकार्य के लिए एक दिन भी छुट्टी
नही दी जा रही है ।
जबकि उनके खिलाफ #षडयंत्र होने के कई पुख्ता सबूत भी मिल चुके हैं लेकिन फिर भी उनको अभीतक कोई राहत नही मिल रही है ।
भारत
की जनता कई बार सवाल उठा चुकी है कि पहले तो विदेश से आई सोनिया गांधी की
सरकार थी जिससे हिन्दुत्वनिष्ठों पर अत्याचार हो रहा था लेकिन अब तो
हिंदुत्ववादी कहलाने वाली बीजेपी सरकार होते हुए भी निर्दोष साधु-संत और
हिन्दू #कार्यकर्ता जेल के अंदर हैं तो जनता के मन में ये प्रश्न उठ रहे
हैं कि कहीं इसमें हिंदुत्ववादी कहलाने वाली #सरकार भी बाहर नही आने देने
में तो शामिल तो नही है..???
जनता
का मानना है कि दोषी नेता-अभिनेता, पत्रकार आदि बाहर मजे से घूम रहे हैं
और निर्दोष जेल के अंदर बंद हैं और वर्तमान सरकार चुप्पी साधे है जिससे साफ
हो रहा है कि कहीं न कहीं वर्तमान सरकार की भी मिलीभगत है।
भले
ही वर्तमान में निर्दोष #हिंदुत्वनिष्ठ जेल में बंद करके सताए जा रहे हो
और दोषी बाहर मजे से घूम रहे हो लेकिन इसका परिणाम देश-समाज के लिए खतरनाक
साबित हो सकता है क्योंकि अगर एक के बाद एक हिन्दुत्वनिष्ठों को फंसाया
जाएगा तो कोई देश की संस्कृति की रक्षा के लिए आगे नही आयेगा और राष्ट्र
विरोधी ताकतें इसका फायदा उठाकर देश को फिर से गुलामी की जंजीरों में
ढकेलने की #कोशिश करेंगे इससे समाज भी सुरक्षित नही रह पायेगा ।
अतः
अभी भी समय है भारतीय #संस्कृति प्रेमी एक हो जाओ । जो भी
हिन्दुत्वनिष्ठों को फंसाया गया है या फंसाने की कोशिश करते हैं उनके खिलाफ
डटकर मुकाबला करें नही तो एक बात एक बारी होगी.....
इंडिया न्यूज चैनल के दीपक चौरसिया की तीव्र हुई गिरफ्तारी की मांग, गैर जमानती वारंट जारी
जून,13, 2017
पटना
न्यायालय द्वारा #दीपक चौरसिया ( एडिटर-इन-चीफ, इंडिया न्यूज टीवी चैनल)
को बार-बार सम्मन भेजने के बाद भी कानून की अहवेलना करते हुए नही आने पर
(#Non-Bailable Summons - गैर जमानती सम्मन ) (WARRANT OF ARREST
-गिरफ्तारी का वारन्ट) जारी किया है ।
Azaad Bharat - Deepak Chaurasia
धार्मिक भावनाओं को आहत किये जाने के कारण
दीपक चौरसिया व अन्य लोगों के खिलाफ शिकायत दर्ज की गई थी लेकिन अभी तक कोर्ट में कोई भी पेश नही हुआ है ।
सोमवार
को सेक्टर-6 सिटी #S.P नोएडा कार्यालय पर सामाजिक संगठनों एवं हिन्दू
संगठनों के कार्यकर्ता (विश्व हिन्दू एकता मंच के दिल्ली प्रदेश अध्यक्ष
सुनील कुमार, राष्ट्रीय परशुराम सेना युवावाहिनी- अध्यक्ष अनूप दुबे,
उपाध्यक्ष राहुल राज तिबारी, नारी रक्षा मंच की राष्ट्रीय अध्यक्ष रुपाली
दुबे,हिन्दू मुस्लिम एकता मंच के प्रदेश अध्यक्ष बम बम ठाकुर, भारत जाग्रति
मोर्चा के कार्यकर्ता राहुल जी, धर्म रक्षा दल प्रदेश उपाध्यक्ष श्री अखिल
यादव) आदि संगठन सैकड़ों लोगों के साथ सिटी S.P से मुलाकात करने पहुंचे ।
जन
जागरण मंच गौतमबुध नगर के प्रदेश अध्यक्ष #श्री मनोज त्यागी बाबा ने वहां
पर पहुँची मीडिया को बताया कि #भारतीय संस्कृति एवं संतों की अस्मिता पर
#कुठाराघात करने वाले इंडिया न्यूज टीवी चैनल के वरिष्ठ पदाधिकारियों एवं
उसके मालिक के विरुद्ध करीब 3 महीने से गैर जमानती वारंट पटना न्यायालय
द्वारा जारी किया गया है ।
पटना
न्यायालय द्वारा #N.B.W. वारंट लखनऊ #D.G.P यू पी को आदेशित किया गया ।
जिसके बाद लखनऊ D.G.P द्वारा मेरठ I.G को भेजा गया । जिसके बाद मेरठ I.G ने
S.S.P नोएडा को आदेशित की गयी । जिसके बाद नोएडा S.S.P के आदेशित करने पर
बार बार नगर S.P के समक्ष आरोपी की गिरफ्तारी के विभिन्न संगठनों के साथ
मांग की गयी ।
लेकिन
#S.P द्वारा गिरफ्तारी नहीं की जाने से पुनः सभी पदाधिकारी.S.SP, #I.G
मेरठ, #D.G.P लखनऊ, #मुख्यमंत्री यूपी के समक्ष कार्यवाही की मांग की ।
जिससे
दबाव वश थानाधिकारी एवं #I.O अधिकारी ने #झूठी रिपोर्ट बनाकर सभी लोगों को
बताया कि #दीपक चौरसिया पटना न्यायालय में पेश हो चुका है । जब कि सच्चाई
यह है कि दीपक चौरसिया कोर्ट में पेश नहीं हुआ है ।
पुलिस
प्रशासन द्वारा कार्यवाही नहीं किये जाने के कारण जनता अपना आक्रोश प्रकट
करने एवं वारंट पर तत्काल कार्यवाही कर दोषियों को गिरफ्तार करने की मांग
को लेकर S.P कार्यालय पहुँची । जिसमें साथ में पहुँचे अन्य संगठनों ने
इंडिया न्यूज के पदाधिकारियों को तुरंत गिरफ्तार करने की मांग की । साथ ही
जनता द्वारा पुलिस प्रशासन की निष्क्रियता पर सवाल उठाए गये ।
सामाजिक
संगठनों ने #पुलिस प्रशासन को चेतावनी देते हुए कहा कि इसके पहले भी
न्यायालय द्वारा गैर जमानती वारंट जारी किया गया था लेकिन दोषी व्यक्ति
टीवी चैनलों पर लगातार #हिन्दू जनता की #धार्मिक भावनाओं को #ठेस पहुंचाता
रहा और पुलिस प्रशासन मूकदर्शक बना रहा और आज भी दोषी व्यक्ति खुले आम घूम
रहा है और पुलिस निष्क्रियतापूर्वक बैठी हुई है ।
सोमवार (12 जून 2017) को सिटी #A.S.P से मिलने के बाद A.S.P ने आरोपी को तुरंत गिरफ्तार कर न्यायालय में पेश करने का आश्वासन दिया ।
क्या है मामला?
#इंडिया न्यूज टीवी चैनल के #दीपक चौरसिया ने हिन्दू संत आसारामजी बापू को #बदनाम करने के लिए सबसे पहले #अभियान शुरु किया था ।
झूठे
एवं मनगढ़ंत न्यूज़ एवं “गैंग ऑफ आसाराम“ इत्यादि कार्यक्रमों को इस
#कुप्रचार अभियान का आधार बनाया गया था, जबकि पुलिस द्वारा अभी तक इस
प्रकार का एक भी आरोप हिन्दू संत आशारामजी बापू पर नहीं लगाया गया है ।
#दीपक
चौरसिया एवं अन्य #न्यूज चैनलों ने पैसे की लालच, स्वार्थपूर्ण एवं #कुटिल
अपराधिक उद्देश्य द्वारा संत आशारामजी बापू की छवि को समाज में धूमिल करने
तथा करोड़ों शिष्यों की धार्मिक भावनाओं को #आहत एवं उन्हें #अपमानित करने
का प्रयास किया ।
बिकाऊ एवं एक तरफा न्यूज दिखाना दीपक चौरसिया एवं उसकी कंपनी के लिए आम बात है ।
इसी
कारण पटना में रहने वाले #श्री दिलीप कुमार ने, जिनकी धार्मिक भावना को
ठेस पहुंची थी, उन्होंने पटना शहर के कोर्ट में #दीपक चौरसिया एवं अन्य
आरोपी जिनमें इंडिया #न्यूज चैनल के मालिक एवं निर्देशक भी सम्मलित है,
उनके खिलाफ 15 मई 2014 को #शिकायत दर्ज कराई थी ।
पटना
शहर न्यायालय ने सारी शिकायत को सुनकर एवं इसकी गंभीरता को देखते हुए 18
जून 2015 और बाद में 20 जुलाई 2015 को सभी आरोपीगण जिनमें दीपक चौरसिया और
इंडिया न्यूज चैनल के मालिक एवं निर्देशक भी सम्मिलित है, उनके खिलाफ
#भारतीय दंड संहिता के #अंतर्गत धारा 298 एवं 508 के तहत दो बार सम्मन जारी
किये थे लेकिन कानून की अहवेलना करते हुए अभी तक
वे उपस्थित नही हुए इसलिए 14 जून 2016 को Non-bailable सम्मन जारी किया गया ।
जिसके बाद भी पुलिस द्वारा दोषियों पर कोई कार्रवाई नहीं की गयी ।
अभी
तक लगातार #इंडिया न्यूज के पदाधिकारियों द्वारा कानून से खिलवाड़ किया जा
रहा है । लगातार #न्यायालय की अवमानना करने के कारण कोर्ट ने दोबारा
#इंडिया न्यूज चैनल के मालिक एवं दीपक चौरसिया एडीटर इन चीफ आदि को दिनांक
4.3.2017 को #गिरफ्तारी वारंट जारी किया है ।
इतना समय हो गया लेकिन अभी तक न ही दीपक चौरसिया हाजिर हुआ और न ही पुलिस ने उसको गिफ्तार किया ।
जब कानून सबके लिए समान है तो क्यों अभी तक दीपक चौरसिया को गिरफ्तार नही किया गया..???
क्या #हिन्दू संतों और #मीडिया के लिए अलग-अलग #कानून का प्रावधान है...???
जो पुलिस प्रशासन बिना सबूत #शंकराचार्य जयेन्द्र सरस्वती को #दीपावली की रात 12:00 बजे गिरफ्तार कर सकता है ।
जो पुलिस प्रशासन #साध्वी प्रज्ञा ठाकुर को बिना वारंट ही गिरफ्तार करके अमानवीय यातनाएं दे सकता है ।
जो पुलिस प्रशासन 81 वर्षीय वृद्ध संत #आसारामजी बापू जी को बीमारी की हालत में भी रात 12:00 बजे गिरफ्तार कर सकता है ।
वो दीपक चौरसिया पर कई बार वारंट जारी होने पर भी उसे #गिरफ्तार क्यों नही कर रहा...???
चौरसिया पर पटना के अलावा और 10 जगह से #FIR हुई है लेकिन कोई कार्यवाही नही हो रही है ।
क्यों...???
चलो
मीडिया वालों की तो आपस में सांठ-गांठ होती है इसलिए वे एक दूसरे के लिए
कोई खबर नहीं दिखाते पर क्या पुलिस की भी कोई सांठ-गांठ है या पुलिस मीडिया
से डरकर कर्तव्य विहीन हो गई है ।
आखिर क्या कारण है #दीपक चौरसिया को #गिरफ्तार न करने के पीछे...???
आपको
बता दे कि #दीपक चौरसिया के लिए कई बार #ट्वीटर पर भी लाखों लोगों ने
#गिरफ्तारी की माँग की है और दिल्ली #जंतर मंतर पर भी अनेक बड़े-बड़े #हिन्दू
संगठन और हजारों लोग #गिरफ्तारी की माँग की थी।
अब
देखना ये है कि #बिना सबूत #हिन्दू संतों को आधी रात को #गिरफ्तार करने
वाला ये #पुलिस प्रशासन कितना #सक्रिय है दीपक चौरसिया के लिए..!!
*दुनिया की सबसे ज्यादा मुस्लिम आबादी वाला देश,रामायण और हिन्दू देवी-देवताओं का है दीवाना*
जून, 12, 2017
फिल्म
एक्ट्रेस #रवीना टंडन ने ट्विटर पर #रामायण को लेकर कुछ दिनों पहले एक
ट्वीट करके लिखा था कि #मुगल और #ब्रिटिश ने हमारे इतिहास के साथ छेड़छाड़
की और हमें ये मानने पर बाध्य कर दिया कि रामायण मिथ्या थी। इसके साथ
उन्होंने रामायण के वास्ताविक होने की खबर की लिंक भी शेयर की ।
Azaad bharat- indonesia fond of ramayana
लेकिन कुछ असामाजिक तत्वों ने उनके खिलाफ मोर्चा खोल दिया और #रवीना टंडन की रामायण पर हुई ट्वीट पर सवाल उठाने लगे ।
लेकिन
#रवीना ने आगे बढ़कर एक ट्वीट में लिखा कि क्योंकिं मैं #हिंदू हूँ और
#रामायण और गीता पर विश्वास रखती हूँ । मुझे भारतीय होने पर गर्व है
क्योंकि मैं रामायण पर विश्वास करती हूँ तो क्या इससे आपको अपमान करने का
अधिकार मिल जाता है।
भारत
में #रामायण पर बात करने पर #सेकुलर लोग बबाल करने लग जाते हैं लेकिन
दुनिया मे सबसे बड़ा देश भगवान श्री राम और रामायण का दीवाना है । जो
#सेक्युलर लोगों पर एक तमाचा है ।
दुनिया की सबसे ज्यादा #मुस्लिम आबादी वाला देश #इंडोनेशिया रामकथा यानी #रामायण का बेहद दीवाना है।
#इंडोनेशिया
देश में #अयोध्या भी है और यहां के #मुस्लिम भी भगवान राम को अपने जीवन का
नायक और #रामायण को अपने दिल के सबसे करीब किताब मानते हैं।
आपको
बता दें कि साल 1973 में इंडोनेशिया की सरकार ने #अंतरराष्ट्रीय रामायण
सम्मलेन का आयोजन किया था। ये अपने आप में काफी अनूठा आयोजन था क्योंकि
घोषित तौर पर कोई मुस्लिम राष्ट्र पहली बार किसी और धर्म के धर्मग्रन्थ के
सम्मान में इस तरह का कोई आयोजन करा रहा था।
#इंडोनेशिया
में आज भी #रामायण का इतना गहरा प्रभाव है कि देश के कई इलाकों में रामायण
के अवशेष और पत्थरों तक की नक्काशी पर रामकथा के चित्र आसानी से मिल जाते
हैं।
विश्व
के मानचित्र पर दक्षिण पूर्व एशिया में स्थित इंडोनेशिया नामक इस देश की
आबादी तकरीबन 23 करोड़ है। यह दुनिया का चौथा सबसे अधिक आबादी वाला देश है
और साथ ही सबसे बड़ा मुस्लिम आबादी वाला देश भी है।
बीते
अक्टूबर में #इंडोनेशिया सरकार ने #प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से भारत की
कई जगहों पर #इंडोनेशिया की रामायण पर आधारित रामलीला का मंचन करवाने की
मांग की थी। यही नहीं #इंडोनेशिया ने #मोदी सरकार से हर साल #रामायण पर्व
के #आयोजन की भी मांग की।
आपको
बता दें कि इंडोनेशिया भी चाहता है कि भारतीय कलाकार वहां जाकर इंडोनेशिया
के कई शहरों में रामायण का मंचन किया जाए। इंडोनेशिया में रामायण सर्वाधिक
लोकप्रिय काव्य ग्रंथ है।
भारत
में #राम की नगरी जहां #अयोध्या है, वहीं इंडोनेशिया में यह योग्या के नाम
से स्थित है। यहां राम कथा को #'काकावीन रामायण' नाम से जाना जाता है।
इंडोनेशिया
की रामायण 26 अध्यायों का एक विशाल ग्रंथ है। इस रामायण में प्राचीन
लोकप्रिय चरित्र दशरथ को विश्वरंजन कहा गया है, जबकि उसमें उन्हें एक शैव
भी माना गया है, यानी कि वे शिव के अराधक हैं।
इंडोनेशिया
की रामायण का आरंभ भगवान राम के जन्म से होता है, जबकि विश्वामित्र के साथ
राम और लक्ष्मण के प्रस्थान में समस्त ॠषिगणों की ओर से मंगलाचरण किया
जाता है और दशरथ के घर इस ज्येष्ठ पुत्र के जन्म के साथ ही हिंदेशिया का
वाद्य यंत्र गामलान बजने लगता है। वहीं यहां नौ सेना के अध्यक्ष को लक्ष्मण
कहा जाता है। जबकि सीता को सिंता और हनुमान तो इंडोनेशिया के सर्वाधिक
लोकप्रिय पात्र हैं।
हनुमान
जी की लोकप्रियता का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि आज भी हर साल
इस मुस्लिम आबादी वाले देश के आजादी के जश्न के दिन यानी की 27 दिसंबर को
बड़ी तादाद में राजधानी जकार्ता की सड़कों पर युवा हनुमान जी का वेश धारण कर
सरकारी परेड में शामिल होते हैं। हनुमान को इंडोनेशिया की भाषा मे 'अनोमान'
कहा जाता है।
रामायण ही नही इंडोनेशियाई रुपिया का #20,000 का नोट पर भगवान #गणेश की भी #तस्वीर छपी है।
इंडोनेशिया में हिंदू देवी-देवताओं की पूजा की जाती है। वहां भगवान गणेश को कला, शास्त्र और बुद्धिजीवी का भगवान माना जाता है।
#इंडोनेशिया में #जकार्ता स्क्वेर में #कृष्ण-अर्जुन के पुतले भी लगे हैं।
इंडोनेशिया की सेना भी अपना रक्षक हिंदू भगवान हनुमान को मानते हैं। #बाली
टूरिज्म का लोगो (Logo) भी #हिंदु शास्त्रों में से ही लिया गया है। वहां
के एक कॉलेज के लोगो(Logo) पर भी भगवान गणेश हैं।
सबसे
ज्यादा #मुस्लिम आबादी वाला देश #इंडोनेशिया तो #हिन्दू देवी-देवताओं का
#महत्व समझकर उन्नत हो रहा है और हमारी #देवभूमि भारत में कब हिन्दू
देवी-देवताओं का महत्व समझेंगे ???
हैदराबाद उच्च न्यायालय : भगवान और मां के स्थान पर है पवित्र गौ-माता
11,जून, 2017
कुछ
दिन पहले ही राजस्थान उच्च न्यायालय ने गाय को राष्ट्रीय पशु का दर्जा
देने की बात कही थी । अब #हैदराबाद उच्च न्यायालय के जज बी शिवा शंकर राव
ने भी कहा कि गाय को #राष्ट्रीय पशु का दर्जा मिलना ही चाहिए । साथ ही
उन्होंने गाय को पवित्र राष्ट्रीय धरोहर बताते हुए यह भी कहा कि पवित्र गाय
"मां और भगवान" की जगह पर है ।
Azaad Bharat - judge b shiva shanker
#पशु
व्यवसायी रामावत हनुमा की #हाईकोर्ट में दाखिल याचिका पर सुनवाई करते हुए
जज ने यह बात कही । #याचिकाकर्ता #रामावत ने उसकी जब्त की गई 63 #गायों की
#कस्टडी के लिए निचली अदालत में गुहार लगाई थी । निचली #अदालत में अपील
खारिज होने के बाद उन्होंने हाई कोर्ट में याचिका दाखिल की थी ।
याचिकाकर्ता
का कहना है कि वह गायों को चराने के लिए अपने गांव के पास कंचनपल्ली गांव
लेकर गया था । वहीं, दूसरी तरफ के पक्ष का कहना है कि रामावत गायों को
बेचने के लिए ले जा रहा था ताकि #बकरीद के दौरान #गौमांस बेच सके ।
जस्टिस
बी शिवा शंकर राव ने रामावत हनुमा की अपील खारिज करते हुए सुप्रीम कोर्ट
के आदेश का हवाला दिया । सुप्रीम कोर्ट की उस टिप्पणी का जस्टिस राव ने
हवाला दिया जिसमें कहा गया था कि मुस्लिमों को बकरीद के मौके पर स्वस्थ
गायों को मारकर उनका मांस खाने का कोई #संवैधानिक अधिकार नहीं है ।
#न्यायाधीश ने #बाबर का उदाहरण देते हुए कहा कि, उन्होंने गौहत्या पर
पाबंदी लगाई थी। न्यायाधीश ने आगे कहा कि, बाबर ने अपने बेटे #हुमायूँ को
भी ऐसा ही करने को कहा था। न्यायाधीश ने कहा कि #अकबर, #जहांगीर और अहमद
शाह ने भी #गौहत्या पर पाबंदी रखी थी।
वहीं
उन्होंने आंध्र प्रदेश और तेलंगाना के जानवरों का इलाज करने वाले
#डॉक्टरों को भी कड़क निर्देश दिया कि स्वस्थ गायों को दूध देने में असमर्थ
बताने वाले डॉक्टरों पर भी कार्रवाई होगी ।
आपको
बता दें कि आंध्र प्रदेश और तेलंगाना में गायों को कत्लगाह में ले जाने की
अनुमति तभी है जब डॉक्टरों द्वारा यह सर्टिफिकेट दे दिया जाए कि गाय अब
दूध दे सकने में समर्थ नहीं है । जस्टिस राव ने यह भी बताया कि अब एपी काउ
स्लॉटर ऐक्ट 1977 में संशोधन के बाद अब इस अपराध को #गैरजमानती और गंभीर भी
माना जाएगा ।
गौ-माता की महिमा है बड़ी भारी
अमेरिका के #कृषि विभाग द्वारा #गौ -महिमा आधारित एक #पुस्तक प्रकाशित की गई है जिसका नाम है "#THE COW IS A WONDERFUL LABORATORY "
THE
COW IS A WONDERFUL LABORATORY के अनुसार प्रकृति के समस्त जीव-जंतुओं और
सभी दुग्धधारी जीवों में केवल #गाय ही ऐसा प्राणी है जिसके शरीर में लम्बी
आंत होती है जबकि अन्य पशुओं में ऐसा नहीं है । इसी कारण #गाय जो भी
खाती-पीती है वह अंतिम छोर तक जाता है । इसलिये उसका #दूध उत्तम माना जाता
है ।
#शास्त्रों
के अनुसार #सूर्य में से अनेक किरणें निकलती हैं जिसमें से एक #गौ-किरण भी
निकलती है जो केवल #गाय माता ही ग्रहण करती है जिससे उसका नाम #गौ-माता
रखा गया और इसलिये #गौ दूध में पीलापन यानि #सुवर्णक्षार होते हैं ।
#गौ
वात्सल्य :- #गौ माता बच्चा जनने के बाद अपने बच्चे के साथ रहती है और
उसे चाटती है इसीलिए लाखों बच्चों में भी वह अपने बच्चे को पहचान लेती है
जबकि #भैंस और जरसी अपने बच्चे को नहीं पहचान पाती ।
#गाय
जब तक अपने बच्चे को अपना #दूध नहीं पिलाएगी तब तक #दूध नहीं देती है ,
जबकि भैस,जर्सी होलिस्टयन के आगे चारा डालो और #दूध दुह लो ।
आज बच्चों में क्रूरता इसीलिए भी बढ़ रही है क्योंकि जिसका वे #दूध पी रहे हैं उसके अन्दर ममता नहीं है ।
देसी
#गाय की खीस : बच्चा देने के बाद #गाय के स्तन से जो #दूध निकलता है उसे
खीस, चाका, पेवस, कीला, तेली कहते हैं। #बच्चा देने के 15 दिनों तक इस दूध
में #प्रोटीन की अपेक्षा #खनिज तत्वों की मात्रा अधिक होती है व लेक्टोज,
वसा ( फैट ) एवं पानी की मात्रा कम होती है ।
#खीस वाले दूध में एल्व्युमिन दो गुनी , ग्लोव्लुलिन 12-15 गुनी तथा #एल्युमीनियम की मात्रा 6 गुनी अधिक पायी जाती है ।
#लाभ : खीज में भरपूर खनिज है ।
काली #गौ का दूध ( खीझ) एक हफ्ते पिला देने से वर्षो पुरानी टी.बी. खत्म हो जाती है । कई भयंकर बीमारियां ठीक हो जाती हैं ।
#सींग
:- #गाय के सींगो का आकार सामान्यतः पिरामिड जैसा होता है , जो कि
शक्तिशाली एंटीना की तरह आकाशीय उर्जा ( कोस्मिक एनर्जी ) को संग्रह करने
का कार्य करते हैं।
#देसी
#गाय का कन्धा ( ढिल्ला ) : #गाय के कुकुद्द में सूर्यकेतु नाड़ी होती है
जो सूर्य से अल्ट्रावायलेट किरणों को रोकती है , #गाय के #दूध में सोना
पाया जाता है जिससे शरीर की प्रतिरोधक क्षमता बढ़ती है इसलिए #गाय का #घी
हल्के पीले रंग का होता है ।
#देसी
गाय का दूध : #गाय के दूध के अन्दर जल 87 % वसा 4 %, प्रोटीन 4% , शर्करा
5 % , तथा अन्य तत्व 1 से 2 % प्रतिशत पाये जाते हैं । गाय के दूध में 8
प्रकार के प्रोटीन , 11 प्रकार के विटामिन्स तथा गाय के दूध में ‘ कैरोटिन ‘
नामक प्रदार्थ भैस से दस गुना अधिक होता है ।
#भैस का #दूध गर्म करने पर उसके पोषक ज्यादातर खत्म हो जाते हैं परन्तु गाय के दूध के पोषक तत्व गर्म करने पर भी सुरक्षित रहते हैं ।
#गाय
का #मूत्र : #गाय के #मूत्र में #आयुर्वेद का खजाना है , इसके अन्दर ‘
#कार्बोलिक एसिड ‘ होता है जो कीटाणु नाशक है , #गौ मूत्र चाहे जितने दिनों
तक रखे खराब नहीं होता है, इसमें #कैसर को रोकने वाली "करक्यूमिन" पायी
जाती है । गौ मूत्र में नाइट्रोजन ,फास्फेट, यूरिक एसिड , पोटेशियम ,
सोडियम , लैक्टोज , सल्फर, अमोनिया, लवण रहित विटामिन ए वी सी डी ई ,
इन्जैम आदि तत्व पाए जाते हैं । देसी गाय के #गोबर-मूत्र-मिश्रण से ‘
#प्रोपिलीन ऑक्साइड ” उत्पन्न होती है जो बारिश लाने में सहायक होती है ।
इसी के मिश्रण से ‘ #इथिलीन ऑक्साइड ‘ गैस निकलती है जो ऑपरेशन थियटर में
काम आती है ।
#गौ मूत्र में मुख्यतः 16 खनिज तत्व पाये जाते हैं जो शरीर की प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाते हैं ।
#गौ
माता के #गोबर से गैस बनती है जो आपके #रसोई घर में उपयोग आ सकती है ।
उसका खाद जिस जमीन पर पड़ता है वो बंजर जमीन भी उपजाऊ हो जाती है और उस जमीन
का धान्य बहुत पौष्टिक होता है ।
#गौ-माता के सूखे कंडे में #घी डालकर धुँआ किया जाये तो 1 टन #ऑक्सीजन बनता है ।
#दुनिया
में किसी भी प्राणी का मल-मूत्र पवित्र नही माना जाता । यहाँ तक कि
#मनुष्य का भी मल-मूत्र पवित्र नही माना जाता है केवल #गाय ही ऐसा प्राणी
है जिसका #गोबर और #गौ-मूत्र पवित्र माना जाता है । यहाँ तक कि #पूजा पाठ
में भी #गोबर और #गौ-मूत्र का उपयोग किया जाता है ।
#गौ माता के #दूध #दही #घी #मूत्र व #गोबर का #पंचगव्य बनाकर पिया जाये तो भयंकर बीमार व्यक्ति भी ठीक हो जाता है ।
#गाय का शरीर : #गाय के शरीर से पवित्र #गुगल जैसी सुगंध आती है जो वातावरण को शुद्ध और पवित्र करती है ।
जननी जनकार #दूध पिलाती, केवल साल छमाही भर !
#गोमाता पय-सुधा पिलाती, रक्षा करती #जीवन भर !!
#गौ-माता की कितनी भी महिमा गाओ, कम है ।
अब वक्त आ गया है कि सभी को मिलकर #गौ-माता को #राष्ट्रपशु का दर्जा दिलाकर तन-मन-धन से इसकी रक्षा करनी है ।